भारतीय तेल शोधनशालाएँ

दरअसल जब तेल के भंडार पृथ्वी पर कहीं ढूंढे जाते हैं, तब यह गाढ़े काले रंग का होता है। जिसे क्रूड ऑयल कहा जाता है और इसमें उदप्रांगारों की बहुलता होती है। उदप्रांगारों की खासियत यह होती है कि इनमें मौजूद हाइड्रोजन और प्रांगार के अणु एक दूसरे से विभिन्न श्रृंखलाओं में बंधे होते हैं। ये श्रृंखलाएं तरह-तरह की होती हैं। यही श्रृंखलाएं विभिन्न प्रकार के तेल उत्पादों का स्रोत होती हैं। इनकी सबसे छोटी श्रृंखला मिथेन नामक प्रोडक्ट का आधार बनती है। इनमें लंबी श्रृंखलाओं वाले उदप्रांगारों ठोस जैसे कि मोम या टार नामक उत्पाद का निर्माण करते हैं।


शिलारस (पेट्रोलियम) किसे कहते है?

शिलारस (पेट्रोलियम) एक अत्यधिक उपयोगी पदार्थ हैं, जिसका उपयोग देनिक जीवन में बहुत अधिक होता हैं। शिलारस वास्तव में उदप्रांगारों का मिश्रण होता है। इसका निर्माण भी कोयले की तरह वनस्पतियों के पृथ्वी के नीचे दबने तथा कालांतर में उनके उपर उच्च दाब तथा ताप के आपतन के कारण हुआ। प्राकृतिक रूप से पाए जाने वाले शिलारस को अपरिष्कृत तेल (Crude Oil) कहते हैं जो काले रंग का गाढ़ा द्रव होता है। इसके प्रभाजी आसवन (फ्रैक्शनल डिस्टिलेशन) से केरोसिन, पेट्रोल, डीज़ल, प्राकृतिक गैस, वेसलीन, ल्यूब्रिकेंट तेल इत्यादि प्राप्त होते हैं।

भारत में खनिज तेल प्राप्ति के प्रमुख स्थान:

भारत में स्वतंत्रता प्राप्ति के समय तक मात्र असम में ही खनिज तेल निकाला जाता था, लेकिन उसके बाद गुजरात तथा बाम्बे हाई में खनिज तेल का उत्खनन प्रारम्भ किया गया। तेल एवं प्राकृतिक गैस आयोग द्वारा देश के स्थलीय एवं सागरीय भागो में 26 ऐसे बेसिनों का पता लगाया गया है, जहाँ से तेल-प्राप्ति की पर्याप्त संभावनाएं है। भारत में सम्भावित तेल क्षेत्र 14.1 लाख वर्ग किमी. पर विस्तृत हैं, जिसका 85 प्रतिशत भाग स्थल पर है एवं 15 प्रतिशत भाग अपतटीय क्षेत्र में। भारत का खनिज तेल का ज्ञात भण्डार एवं उत्पादन दोनो ही कम है, अतः अपनी आवश्यकता पूर्ति के लिए विदेशों से तेल का आयात किया जाता है। अंतर्राष्ट्रीय भू-गर्मिक सर्वेक्षण के अनुसार भारत में खनिज तेल का भंडार 620 करोड़ टन है। तेल एवं प्राकृतिक गैस आयोग ने भारत का कुल खनिज तेल भंडार 1750 लाख टन बताया है।


भारतीय तेल शोधनशालाएँ और स्थापना वर्ष की सूची :

भारत की प्रमुख तेल शोधनशालाएँ स्थापना वर्ष
डिग्बोई (असम)1901
मुम्बई (एच.पी.सी.एल.)1954
मुम्बई (बी.पी.सी.एल.)1955
विशाखापटनम1957
गुवाहाटी (असम)1962
बरौनी (बिहार)1964
कोयली (गुजरात)1965
कोचीन1966
चेन्नई1969
हल्दिया (पश्चिम बंगाल)1975
बोगाईगाँव (असम)1979
मथुरा (उत्तर प्रदेश)1982
करनाल (हरियाणा)1987
जामनगर (गुजरात)1999

भारत की तेल रिफाइनरियाँ :

स्थान राज्यस्वामित्व
गुवाहाटी असम इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
बरौनी बिहार इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
कोयली गुजरात इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
हल्दिया पश्चिम बंगाल इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
मथुरा उत्तर प्रदेश इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
डिगबोई असम इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
पानीपत हरियाणा इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
पारादीप ओडिशा इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन
मनाली तमिलनाडु चेन्नई पेट्रोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड
नरीमनम तमिलनाडु चेन्नई पेट्रोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड
बोंगईगांव असम बोंगईगांव रिफाइनरीज और पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड
मुंबई महाराष्ट्र भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड
कोच्चि केरल कोच्चि रिफाइनरीज लिमिटेड
नुमालीगढ़ असम नुमालीगढ़ रिफाइनरीज लिमिटेड.
बीना मध्य प्रदेश भारत पेट्रोलियम तथा ओमान ऑयल कंपनी
मुंबई महाराष्ट्र हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड
विशाखापट्नम आंध्र प्रदेश हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड
तातिपाका आंध्र प्रदेश ऑयल एण्ड नेचुरल कॉरपोरेशन लिमिटेड
मंगलौर कर्नाटक मंगलूर रिफाइनरी एवं पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड
जामनगर गुजरात रिलायंस पेट्रोलियम लिमिटेड
वाडिनार गुजरात एस्सार ऑयल लिमिटेड
भटिंडा पंजाब हिंदुस्तान मित्तल एनर्जी लिमिटेड

बोंगईगांव रिफाइनरीज एंड पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड और चेन्नई पेट्रोलियम कॉर्प लिमिटेड आईओसी लिमिटेड की सहायक कंपनी हैं। नुमालीगढ़ रिफाइनरीज और कोच्चि रिफाइनरीज लिमिटेड भारत पेट्रोलियम के स्वामित्व में हैं। एमआरपीएल ओएनजीसी की सहायक कंपनी है।


भारत और विश्व के तेल क्षेत्र :

तेल क्षेत्र राष्ट्र
डिगबोई असम, भारत
बॉम्बे हाई अरब सागर, भारत
मंगला क्षेत्र राजस्थान, भारत
ऐश्वर्या राजस्थान, भारत
भाग्यम राजस्थान, भारत
घावर सऊदी अरब
बरगान कुवैट
कैंटरेल मेक्सिको
बोलिवर तटीय कॉम्प्लेक्स वेनेजुएला
रुमैला इराक
तेन्गिज़ कजाखस्तान
किरकुक इराक
डख़ान कतर
बॉस्कैन फील्ड वेनेजुएला
तूट पाकिस्तान
सरीर लीबिया
दक़िंग चीन
ईगलविले संयुक्त राज्य अमेरिका
स्प्रेबेरी संयुक्त राज्य अमेरिका
समोतलोर रूस
वेलिकोये रूस
वैनकोर रूस
अज़ाडेगन ईरान
याडावरन ईरान

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3 Comments

  1. Sachi me mja aagya bhut ache content dete ho aap bhut help milti h hme aap ese hi dete rho content and carry on all the best .
    Again…Thanks

  2. जर्मन एकीकरण।

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